ग्वालियर, मप्र में कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष पद को लेकर खींचतान जारी है। पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया की इस पद के लिए दावेदारी के बीच पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने बयानों की 'गुगली' डाली है। ग्वालियर में दिग्विजय ने हांगकांग में युवा नेतृत्व में की गई क्रांति की मिसाल देते हुए कहा कि प्रदेश अध्यक्ष पद की कमान 24-25 साल के युवा को सौंपी जानी चाहिए।
उन्होंने कहा कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद का फैसला पार्टी हाईकमान करेगा। हालांकि माना जा रहा है कि दिग्विजय ने 24-25 साल के युवा को प्रदेश अध्यक्ष की कमान सौंपे जाने का शिगूफा छोड़कर सिंधिया की दावेदारी को कमजोर करने का प्रयास किया है। इस बयान के बाद कांग्रेसी भी असमंजस में हैं कि दिग्विजय किस युवा को अध्यक्ष बनाने की वकालत कर रहे हैं, क्योंकि उनके पुत्र जयवर्द्धन सिंह भी इस आयुसीमा के दायरे से बाहर हैं।
सिंधिया का कद बहुत बड़ा
उधर, सिंधिया के कट्टर समर्थकों में शुमार परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने भोपाल में पत्रकार वार्ता में कहा कि वे (सिंधिया) देश और प्रदेश के बड़े नेता हैं। उनका कद बहुत बड़ा है और जहां तक मैं समझता हूं, वे इसके लिए (प्रदेश अध्यक्ष) के लिए बहुत संघर्ष नहीं करेंगे। प्रदेश अध्यक्ष तय करने का काम हाईकमान का है। यदि उनकी इच्छा है और हाईकमान जिम्मेदारी सौंपता है तो पूरे प्रदेश के लाखों कार्यकर्ताओं के साथ युवा और किसानों को खुशी होगी। मालूम हो, सिंधिया की नाराजगी की खबरों के बीच राजपूत ने शुक्रवार को दिल्ली में उनसे लगभग दो घंटे मुलाकात की।
सिंधिया समर्थक लामबंद, सोनिया को ई-मेल भेजा
ग्वालियर जिला कांग्रेस ने शनिवार को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष की कमान सिंधिया को सौंपे जाने का प्रस्ताव पारित किया है। ई-मेल के जरिए यह प्रस्ताव पार्टी की राष्ट्रीय अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को भेजा है। इस प्रस्ताव का समर्थन कमलनाथ सरकार में कैबिनेट मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर, इमरती देवी व विधायक मुन्नालाल गोयल ने किया है। उधर, दतिया जिले के इंदरगढ़ में जुटे कांग्रेस नेताओं ने साफ किया कि अगर सिंधिया को प्रदेश कांग्रेस की कमान नहीं दी गई तो पदाधिकारी व कार्यकर्ता इस्तीफा दे देंगे।